Saturday, May 18, 2024

Chapter 4-पौधों को जानिए Class 6 Science

  

                                  Chapter 4-
पौधों को जानिए Class 6 Science

    Chapter 4-पौधों को जानिए Class 6 Science Notes in Hindi

सामान्यतः पौधों का वर्गीकरण उनकी ऊँचाई, तने एवं शाखाओं के आधार पर शाक, झाड़ी तथा वृक्ष में किया जाता है।

शाक हरे एवं कोमल तने वाले पौधे शाक कहलाते हैं।
झाड़ी ऐसे मध्यम ऊँचाई के पौधे जिनमें एक समान कई तने जमीन से निकल कर झाड़ बनाते हैं।
वृक्ष ऐसे बड़े पौधे जिनमें एक मुख्य तना होता है।
पौधे का जमीन के अन्दर का भाग जड़/मूल तंत्र तथा जमीन के बाहर का भाग प्ररोह तंत्र कहलाता है। प्ररोह तंत्र में तना, शाखाएँ एवं पत्तियाँ होती हैं।

जड़ें मिट्टी से जल एवं खनिज पदार्थों का अवशोषण करती है तथा पौधों को मिट्टी में दृढ़ता से  जमाए रखती हैं।
जड़ें मुख्यतः दो प्रकार की होती हैं- मूसला जड़ एवं रेशेदार जड़।

मूसला जड़ मुख्य जड़ जिससे पार्श्व जड़ें निकलती है।
रेशेदार जड़ जिन पौधों में कोई एक मुख्य जड़ नहीं होती और सभी जड़ें एक समान दिखाई देती हैं तथा एक ही स्थान से निकलती हैं, इन्हें झकड़ा जड़ें या रेशेदार जड़ें कहते हैं।
पार्श्व जड़ मुख्य मूसला जड़ से निकली जड़ें पार्श्व जड़ें कहलाती हैं।
जालिका रूपी शिराविन्यास युक्त पत्तियों वाले पौधों की जड़ें मूसला जड़ होती हैं, जबकि           समान्तर शिराविन्यास युक्त पत्तियों वाले पौधों की जड़ें रेशेदार होती हैं।
तने पर पत्तियाँ, पुष्प तथा फल बनते हैं।
सामान्यत: पत्ती में पर्णवृन्त तथा फलक होते हैं।

पर्णवृन्त पत्ती का वह भाग जिसके द्वारा पत्ती तने से जुड़ी रहती है।
फलक पत्ती का चौड़ा हरा भाग होता हैं शिरा-पत्ती में उपस्थित नाड़ियाँ होती हैं।

मध्य शिरा पत्ती के मध्य में एक मोटी शिरा होती है।
शिराविन्यास पत्ती में शिराओं की व्यवस्था। पत्ती में शिराओं का प्रतिरूप शिराविन्यास कहलाता है।
यह दो प्रकार का होता है- जालिका रूपी तथा समान्तर शिराविन्यास।

जालिकावत् शिराविन्यास पत्ती में जब सभी शिराएँ मिलकर एक जाल-सा बनाती हैं तो इसे  जालिकावत् शिरा विन्यास कहते हैं।
समान्तर शिराविन्यास पत्ती में जब सभी शिराएँ एक-दूसरी के समान्तर फैली होती हैं तो इसे समान्तर शिरा विन्यास कहते हैं।

तने द्वारा जड़ों से पत्तियों और अन्य भागों को जल और पत्तियों से भोजन पौधे के अन्य भागों तक पहुँचता है।
पत्तियाँ वाष्पोत्सर्जन क्रिया द्वारा जलवाष्प को वायु में निष्कासित करती हैं।

प्रकाश संश्लेषण पौधों द्वारा सूर्य के प्रकाश में भोजन बनाने की प्रक्रिया होती हैं।
हरी पत्तियों सूर्य के प्रकाश की उपस्थिति में वायु एवं जल से प्रकाश संश्लेषण की क्रिया द्वारा भोजन बनाती है।
पुष्प के विभिन्न भाग हैं- बाह्य दल, पंखुड़ी, पुंकेसर तथा स्त्रीकेसर।
विसर्पी लताएँ कमजोर तने वाले पौधे सीधे खड़े नहीं हो सकते और ये भूमि पर फैल जाते हैं। इन्हें विसर्पी लता कहते हैं।
आरोही ऐसे कमजोर पौधे जो किसी सहारे के द्वारा ऊपर बढ़ते हैं, आरोही कहलाते हैं।
वाष्पोत्सर्जन पत्तियों द्वारा जल को वाष्प के रूप में निकालने की प्रक्रिया।
संवहन तने द्वारा जल एवं खनिजों का स्थानान्तरण संवहन कहलाता है।
बाह्यदलफूल की कलिका छटी-छोटी हरी पत्तियों जैसी रचना से ढकी होती है जिन्हें बाह्यदल कहते हैं।
पंखुड़ियाँ फूलों के बाह्यदल से घिरा आकर्षक प्रमुख रंगीन भाग।
पुंकेसर पुष्प के नर भाग जो परागकण उत्पन्न करते हैं।
स्त्री-केसर पुष्प के मादा भाग जो बीजाण्ड उत्पन्न करते हैं।
बीजाण्ड अण्डाशय में छोटी-छोटी गोल संरचनाएँ जो बीज बनाती हैं।

पहेली/बूझो

प्रश्न 1. पहेली जानना चाहती है कि मनीप्लांट, सेम, लौकी तथा अंगूर के तने किस प्रकार के हैं? इनमें से कुछ पौधों को देखिए। ये शाक, झाड़ी और पेड़ से किस प्रकार भिन्न हैं। आपके विचार से इनमें से कुछ को ऊपर चढ़ने के लिए सहारे की आवश्कयता क्यों होती है?
उत्तर: ये पौधे, शाक, झाड़ी तथा पेड़ों से विभिन्न होते हैं क्योंकि इनका तना कोमल एवं कमजोर होता है। ये पौधे सीधे खड़े नहीं हो सकते हैं और भूमि पर फैल जाते हैं। इसलिए इन्हें विसपी लताएँ कहते हैं। जबकि कुछ पौधे आस-पास में ढाँचे की सहायता से ऊपर चढ़ जाते हैं। ऐसे पौधे आरोही पौधे कहलाते हैं।

प्रश्न 2. बूझो के मस्तिष्क में अजब विचार आया। यदि वह जानना चाहता है कि पौधे की जड़ किस प्रकार की होगी, तो उसे पौधे को उखाड़ने की आवश्यकता नहीं है। वह पौधे की पत्तियों को देखकर इसका उत्तर दे सकता है।
उत्तर: पौधे की पत्ती के शिराविन्यास को देखकर पौधे की जड़ का पता लगाया जा सकता है। समान्तर शिरा विन्यास पत्ती वाले पौधे की जड़ रेशेदार होती है। जबकि जालिकावत् शिराविन्यास वाले पौधे की जड़ें मूसला होती है।

        4-पौधों को जानिए  6th Class Science Textbook Questions and Answers

प्रश्न 1. निम्न कथनss को ठीक करके लिखिए।
(क)  तना मिट्टी से जल एवं खनिज अवशोषित करता है।
(ख) पत्तियाँ पौधे को सीधा खड़ा रखती हैं।
(ग) जड़ें जल को पत्तियों तक पहुँचाती हैं।
(घ) पुष्य में पुंकेसरों एवं पंखुड़ियों की संख्या सदा समान होती है।
(ङ) यदि किसी पुष्प के बाह्य दल परस्पर जुड़े हो तो उसकी पंखुड़ियाँ भी आपस में जुड़ी होंगी।
(च) यदि किसी पुष्प की पंखुड़ियाँ परस्पर जुड़ी हो तो स्त्रीकेसर पंखुड़ियों से जुड़ा होगा।
उत्तर: (क) जड़ें मिट्टी से जल एवं खनिज अवशोषित करती हैं।
(ख) तना पौधे को सीधा खड़ा रखता है।
(ग) तना जल को पत्तियों तक पहुँचाता है।
(घ) पुष्प में पुंकेसरों एवं पंखुड़ियों की संख्या सदा समान नहीं होती है।
(ङ) यदि किसी पुष्प के बाह्यदल परस्पर जुड़े हों तो उसका पखुड़िया पृथक् होगा, परस्पर जुड़ा नहीं होगा।
(च) यदि किसी पुष्प की पंखुड़ियाँ परस्पर जुड़ी हों तो स्त्रीकेसर आवश्यक रूप से पंखुड़ियों से जुड़ा नहीं होगा।

प्रश्न 2. निम्न के चित्र बनाइए
(क) पत्ती          (ख) मूसला जड़
(ग) एक पुष्प जिसका उपरोक्त सारणी में अध्ययन किया हो।
उत्तर:
                   

प्रश्न 3. क्या आप अपने घर के आस-पास ऐसे पौधे को जानते हैं जिसका तना लम्बा परन्तु दुर्बल हो? इसका नाम लिखिए। आप इसे किस वर्ग में रखेंगे?
उत्तर: हाँ, काशीफल का पौधा, इसे सहारे की आवश्यकता होती है। यह विसर्पी लता है।

प्रश्न 4. पौधे में तने का क्या कार्य है?
उत्तर:  1. तना पौधे को सहारा देता है।
2. तने द्वारा जड़ों से पत्तियों को जल और पत्तियों से जड़ों को व अन्य भागों को भोजन पहुँचाया जाता है।

प्रश्न 5. निम्न में से किन पत्तियों में जालिका रूपी शिरा विन्यास पाया जाता है
गेहूँ, तुलसी, मक्का, घास, धनिया, गुड़हल।
उत्तर:  तुलसी, धनिया, गुड़हल।

प्रश्न 6. यदि किसी पौधे की जड़ रेशेदार हो तो उसकी पत्ती का शिरा विन्यास किस प्रकार का होगा?
उत्तर: समान्तर शिराविन्यास।

प्रश्न 7.यदि किसी पौधे की पत्ती में जालिका रूपी शिरा विन्यास हो तो उसकी जड़ें किस प्रकार की होगी?
उत्तर: मूसला जड़।

प्रश्न 8. क्या आप पत्तियों को देखे बिना उनकी पहचान कर सकते हैं?
उत्तर; 1. हाँ, पत्ती की छाप लेकर।
2. पत्ती के ऊपर एक कागज रखिये। पेंसिल को तिरछा पकड़िए तथा इसकी नौक से कागज के उस भाग को जिसके नीचे पत्ती है, धीरे-धीरे रगड़िए। आपको कुछ रेखाओं के साथ छाप दिखाई देगी।
       
              
         चित्र : पत्ती की छाप लेना

प्रश्न 9. किसी पुष्प के विभिन्न भागों के नाम लिखिए।
उत्तर: पुष्य के विभिन्न भागों के नाम-
    

 1.पुष्प वृन्त,          2. बाह्य दल,      3. पंखुड़ियाँ,          4. पुंकेसर,         5. परागकोष,

 6. स्त्रीकेसर,           7. वर्तिका,           8. वर्तिकाग्र।

प्रश्न 10. निम्न में से किन पौधों के फूल आपने देखे हैं
    घास, मक्का , गेहूँ, टमाटर, तुलसी, पीपल, शीशम, बरगद, आम, जामुन, अमरूद, अनार, पपीता, केला, नीबू, गन्ना, आलू, मूंगफली।
उत्तर: हमने सभी पौधों को देखा है। इनमें से फूलों वाले पौधे हैं।
जामुन टमाटर अनार अमरूद  तुलसी केला पपीता नीबू  आम मिर्च

प्रश्न 11.पौधों के उस भाग का नाम लिखिए जो अपना भोजन बनाता है। इस प्रक्रम को क्या कहते हैं?
उत्तर: पत्तियाँ भोजन बनाती हैं। इस प्रक्रम को प्रकाश संश्लेषण कहते हैं।

प्रश्न 12. पुष्प के किस भाग में अंडाशय मिलता है?
उत्तर: अंडाशय स्त्रीकेसर का सबसे निचला एवं फूला हुआ भाग है।

        
                    

प्रश्न 13.ऐसे दो पुष्यों के नाम लिखिए जिनमें से प्रत्येक में संयुक्त और अलग-अलग पंखुड़ियाँ हों।
उत्तर:  1. संयुक्त पंखुड़ियाँ धतूरा, कनेर।         
           2. अलग-अलग पंखुड़ियाँ कमल, सरसों।

  6th Class Science पौधों को जानिए Important Questions and Answers

वस्तुनिष्ठ प्रश्न I. बहुविकल्पी प्रश्न : निम्नलिखित प्रश्नों में सही विकल्प का चयन कीजिए

प्रश्न 1. निम्नलिखित में से कौन-सा पौधा झाड़ी है ?
(क) गेहूँ   (ख) मेंहदी    (ग) पालक    (घ) पीपल
उत्तर:  (ख) मेंहदी

प्रश्न 2. फलक भाग होता है?
(क) जड़ का   (ख) तने का   (ग) पत्ती का   (घ) फल का
उत्तर:  (ग) पत्ती का

प्रश्न 3. शिरा विन्यास पाया जाता है?
(क) पत्तियों में   (ख) तने में   (ग) जड़ों में   (घ) पुष्यों में
उत्तर: (क) पत्तियों में

प्रश्न 4. पौधों द्वारा जल को वाष्प के रूप में उड़ाना कहलाता है?
(क) प्रकाश संश्लेषण   (ख) संवहन    (ग) प्रकीर्णन   (घ) वाष्पोत्सर्जन
उत्तर: (घ) वाष्पोत्सर्जन

II. रिक्त स्थान : निम्नलिखित वाक्यों में रिक्त स्थान भरिए-

1. हरे एवं कोमल तने वाले पौधे …………….. कहलाते हैं।
2. पत्ती के चपटे हरे भाग को …………….. कहते हैं।
3. पत्तियों पर शिराओं द्वारा बनाए गए डिजाइन को …………….. कहते हैं।
4. पुष्प के केन्द्र में स्थित भाग को …………….. कहते हैं।
उत्तर: 1. शाक   2. फलक   3. शिराविन्यास    4. स्त्रीकेसर

III. सुमेलन : कॉलम ‘A’ के शब्दों का मिलान कॉलम ‘B’ के शब्दों से कीजिए-

कॉलम ‘A’

कॉलम ‘B’

(क) प्रकाश संश्लेषण

(i) तना

(ख) जल संवहन

(ii) जड़

(ग) पौधे का स्थिरक

(iii) पुंकेसर व स्त्रीकेसर

(घ) पुष्प के जननांग

(iv) पत्ती

उत्तर:

कॉलम ‘A’

कॉलम ‘B’

(क) प्रकाश संश्लेषण

(iv) पत्ती

(ख) जल संवहन

(i) तना

(ग) पौधे का स्थिरक

(ii) जड़

(घ) पुष्प के जननांग

(iii) पुंकेसर व स्त्रीकेसर

IV. सत्य/असत्य : निम्नलिखित वाक्यों में सत्य एवं असत्य कथन छाँटिए- 

(i) पीपल की पत्ती में जालिकावत् शिरा विन्यास पाया जाता है।
(ii) हम पौधे के उन भागों को खाते हैं जिनमें भोजन संचित होता है।
(iii) पुष्प पौधे का निरर्थक एवं अनाकर्षक भाग है।
(iv) अण्डाशय में छोटी-छोटी गोल संरचनाएं बीजाण्ड कहलाती है।
उत्तर:  1. सत्य    2. सत्य     3. असत्य   4. सत्य।

अति लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1. पौधों को कितने वर्गों में बाँटा जा सकता है? नाम लिखिए।
उत्तर: तीन वर्गों में - शाक, झाड़ी था वृक्ष।

प्रश्न 2. पौधे के दो मुख्य भाग कौन-कौन से हैं?
उत्तर: जड़  था   तना।

प्रश्न 3. खरपतवार क्या होता है?
उत्तर: खेतों में बिना बोए उगने वाले (अनचाहे) पौधे खरपतवार कहलाते हैं।

प्रश्न 4. आरोही पौधे किन्हें कहते हैं?
उत्तर: कमजोर तने वाले पौधे जो आगे बढ़ने के लिए किसी का सहारा लेते हैं, आरोही पौधे कहलाते हैं।

प्रश्न 5. विर्पी लताएं किन्हें कहते हैं?
उत्तर: ऐसे पौधे जो भूमि पर रेंगकर आगे बढ़ते हैं, विर्पी लताएँ कहलाते हैं।

प्रश्न 6. किसी शाक के पत्तियोंयुक्त तने को लाल स्याही से रंगीन जल के गिलास में थोड़ी देर तक रखने पर आप क्या देखते हैं? (क्रियाकलाप)
उत्तर: तने का कुछ भाग, पत्तियाँ तथा पत्तियों की शिराएँ लाल दिखाई देती हैं।

             
प्रश्न 7. पत्तियों और शिराओं में लाल रंग कैसे पहुँचता है ? (क्रियाकलाप)

उत्तर: तने में उपस्थित महीन नलिकारूपी संरचनाओं द्वारा।

     

प्रश्न 8. तने का मुख्य कार्य क्या है?

उत्तर: जल तथा इसमें घुले खनिजों को पत्तियों तक पहुँचाना तथा पत्तियों में बने भोजन को जड़ों तक पहुँचाना।

प्रश्न 9. पत्ती क्या होती है?
उत्तर: पौधे के तने पर लगा चपटा, चौड़ा एवं हरा भाग पत्ती कहलाता है।

प्रश्न 10. पत्ती के मुख्य भागों के नाम लिखिए।
उत्तर:  पर्णवृन्त तथा  पटल।

           

 
प्रश्न 11. पत्ती तने से कैसे जुड़ी होती है।

उत्तर: पत्ती तने से पर्णवृन्त द्वारा जुड़ी होती है।

प्रश्न 12. किसी जल सिंचित पौधे को दिन के समय पॉलीथीन से ढक देने पर आप पॉलीथीन में क्या देखते हैं और क्यों? (क्रियाकलाप)
उत्तर: पॉलीथीन की भीतरी सतह पर जल की बूंदें एकत्र हो जाती हैं। ये जल की बूंदें पत्तियों द्वारा वाष्प के रूप में जल के निष्कासन द्वारा बनी हैं।

                 

 
प्रश्न 13. वाष्पोत्सर्जन किसे कहते हैं?

उत्तर: पौधों के हरे भागों से जल का वाष्य के रूप में उड़ना वाष्पोत्सर्जन कहलाता है।

प्रश्न 14. एक जड़युक्त पौधे तथा एक जड़ कटे पौधे को अलग-अलग गमलों में लगाकर नियमित रूप से पानी दिया गया गया। कौन सा पौधा स्वस्थ रहेगा और क्यों? (क्रियाकलाप)
उत्तर: जड़युक्त पौधा स्वस्थ रहेगा। क्योंकि जड़विहीन पौधा जल ग्रहण नहीं कर पाया और वह सूख गया।

प्रश्न 15. दो ऐसे पौधों के नाम बताइए जिनमें मूसला जड़ें मिलती हैं।
उत्तर: सरसों         चना।

प्रश्न 16. दो ऐसे पौधों के नाम बताइए जिनमें रेशेदार जड़ें मिलती हैं।
उत्तर: मक्का        गेहूँ।

प्रश्न 17. दो ऐसी जड़ों के नाम लिखिए जिन्हें हम खाते हैं।
उत्तर:  गाजर      मूली।

प्रश्न 18. बिना खिले पुष्प में पंखुड़ियाँ कहाँ बन्द रहती हैं? (क्रियाकलाप)
उत्तर: बाह्य दलों के अन्दर।

            
प्रश्न 19. अण्डाशय की काट पर जल की बूँद क्यों जाती है? (क्रियाकलाप)

उत्तर: अण्डाशय की काट को सूखने से बचाने के लिए।

प्रश्न 20, अण्डाशय की काट को आवर्धक लेंस द्वारा देखने पर आपको क्या दिखाई देता है। (क्रियाकलाप)
उत्तर: छोटी-छोटी गोल संरचनाएँ जिन्हें बीजाण्ड कहते हैं।







लघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1. शाक, झाड़ी तथा वृक्ष के दो-दो उदाहरण लिखिए।

उत्तर: शाक-गेहूँ, धनिया।         
      झाड़ी-मेंहदी, गुड़हल।        
      वृक्ष-आम, बरगद।

प्रश्न 2. निम्नलिखित के दो-दो उदाहरण दीजिए-
(क) दो विसर्पी लताओं के नाम लिखिए।

उत्तर: (क) (i) लौकी    (ii) कद्दू ।       
(ख) दो जड़ों के नाम जिन्हें हम खाते हैं।
उत्तर: (ख) (i) गाजर     (ii) शकरकन्द।

प्रश्न 3. जड़ तथा तने के दो-दो कार्य लिखिए।
उत्तर: (क) जड़ के कार्य-

·         पौधे को भूमि में साधे रखना।

·         भूमि से जल एवं खनिज लवण अवशोषित करना।

(ख) तने के कार्य-

·         पत्नियों, पुष्पों व फलों को धारण करना।

·         जल एवं भोज्य पदार्थों का स्थानान्तरण करना।

प्रश्न 4. एक सामान्य पत्ती का चित्र बनाकर उसके दो भागों के नाम व कार्य लिखिए।
उत्तर: 1. पर्ण वृन्त- यह पटल पत्ती को तने से जोड़ता है।
         2. फलक- यह भोजन निर्माण करता है।


          

प्रश्न 5. आपके द्वारा अध्ययन किये गये कुछ खरपतवारों के नाम, इनमें जड़ों एवं शिरा विन्यास के प्रकार को दर्शाने के लिए एक तालिका बनाइए।
उत्तर: जड़ के प्रकार एवं पत्तियों में शिरा-विन्यास के प्रकार

पौधों के नाम

शिरा विन्यास का प्रकार

जड़ का प्रकार

1. बथुआ

जालिकावत्

मूसला

2. जई

समान्तर

रेशेदार

3. सहूँ

समान्तर

रेशेदार

4. चौलाई

जालिकावत्

मूसला

प्रश्न 6. वाष्योत्सर्जन क्या होता है? हम यह कैसे पता करेंगे कि पौधे वाष्योत्सर्जन क्रिया में जलवाष्य निष्कासित करते हैं? (क्रियाकलाप)
उत्तर: पौधे की पत्तियों द्वारा अतिरिक्त जल को जल वाष्प के रूप में निष्कासित करना वाष्पोत्सर्जन कहलाता है। एक स्वस्थ पौधे को गमले में लेकर इसमें पर्याप्त पानी देकर इसे पॉलीथीन से पूर्णत: ढक देते हैं। अब इसे धूप में रख देते हैं। कुछ देर पश्चात हम पॉलीथीन की भीतरी सतह पर पानी की छोटी-छोटी बूंदें देखते हैं। ये जल की बूंदें पत्तियों द्वारा वाष्पोत्सर्जन के फलस्वरूप बनती हैं।

               
     

प्रश्न 7. प्रकाश संश्लेषण क्या होता है?
उत्तर: यह पौधों के हरे भागों (विशेषकर पत्तियों) में होने वाली एक प्रक्रिया है। इसमें हरे पौधे सूर्य के प्रकाश की उपस्थिति में हरे रंग के पदार्थ द्वारा, कार्बन डाइऑक्साइड व जल ग्रहण करके अपना भोजन बनाते हैं। इस क्रिया में ऑक्सीजन मुक्त होती है।

प्रश्न 8. मक्का और चने के बीजों को नम रुई पर उगाया गया। कुछ दिनों बाद दोनों नवोद्भिदों की जड़ों का निरीक्षण किया गया।
(i) चित्र में पहचानिए कौन-सी जड़ चना की है तथा कौन-सी मक्का की।
(ii) दोनों जड़ों में एक समानता तथा अन्तर बताइए। (क्रिया कलाप)
उत्तर:
         
             (i) (a) मक्का की जड़            (b) चने की जड़

(ii) समानता : दोनों नीचे की ओर निकलती हैं।
     अन्तर : मक्का की जड़ अशाखित है, जबकि चने की जड़ शाखित हैं।

प्रश्न 9. मूसला जड़ एवं रेशेदार जड़ें किन्हें कहते हैं?
उत्तर: मूसला जड़-वे जड़ें जिनमें एक मुख्य जड़ होती है तथा इससे अनेक पार्श्व जड़ें निकलती हैं, मूसला जड़ कहलाती हैं।
रेशेदार जड़-ऐसी जड़ें जिनमें एक ही स्थान से धागे के समान अनेक जड़े निकलती हैं, रेशेदार जड़ें कहलाती हैं।

   
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1. किसी पौधे के विभिन्न भागों को दर्शाता हुआ आरेख चित्र बनाइए।
उत्तर:
                  
                            

प्रश्न 2. पौधों को उनकी लम्बाई, कोमल एवं कठोर गुण तथा शाखाओं के आधार पर कितने भागों में बाँटा गया है? सचित्र वर्णन कीजिए।
उत्तर: उपरोक्त आधार पर पौधों को तीन वर्गों में बाँटा जा सकता है-
1. शाक : ये कम लम्बाई वाले पौधे होते हैं। इनके तने कोमल तथा शाखाएँ छोटी होती हैं।
जैसे- गेहूँ, बथुआ, चना, मटर।

2. झाड़ी : ये पौधे मध्यम ऊँचाई के होते हैं। इन पौधों में कोई एक मुख्य तना नहीं होता है। अनेक तने एक ही स्थान से निकलते दिखाई देते हैं।
जैसे- मेंहदी, गुड़हल, बाँस आदि।

3. वृक्ष : ये अधिक ऊँचाई वाले पौधे होते हैं। इनमें एक मुख्य स्तम्भ होता है जो ऊपर जाकर काफी शाखित हो जाता है। इनका तना कठोर होता है।
जैसे- बरगद, आम, पीपल।    
                       चित्र : (a) शाक, (b) झाड़ी, (c) वृक्ष

प्रश्न 3. आपके द्वारा देखे गए कुछ पौधों को शाक, झाड़ी अथवा वृक्ष संवर्ग में निम्नानुसार सारणी में वर्गीकृत कीजिए।
(i) ऊँचाई (स्वयं की लम्बाई से तुलना करके)
(ii) तना (हरा, कोमल, मोटा, कठोर)
(iii) शाखाएँ कहाँ से निकलती हैं (तने के आधार से या तने के ऊपर से)
(iv) पौधे का संवर्ग (शाक, झाड़ी या वृक्ष) (क्रियाकलाप)
उत्तर:                                    सारणी : पौधों के संवर्ग
प्रश्न 4. किसी क्रियाकलाप द्वारा स्पष्ट कीजिए कि पत्तियों में मण्ड का निर्माण होता है। (क्रियाकलाप)
उत्तर: आवश्यक सामग्री : पत्ती, स्प्रिट, बीकर, परखनली, बर्नर, जल, प्लेट एवं आयोडीन विलयन।

परखनली में एक पत्ती रखिए तथा उसमें पर्याप्त मात्रा में स्प्रिट डालें, जिससे पत्ती उसमें पूर्णत: डूबी रहे। अब इस परखनली को जल से आधे भरे बीकर में रखिए। बीकर को उस समय तक गर्म करते रहें जब तक पत्ती से हरा रंग पूर्णत: बाहर नहीं निकल जाता। अब पत्ती को परखनली से सावधानीपूर्वक बाहर निकालकर जल से भली-भाँति धोएँ। इसे प्लेट में रखकर आयोडीन विलयन की कुछ बूंदें डालिए।
        

पत्ती से हरा रंग बाहर निकल कर स्प्रिट में घुल जाता है और पत्ती रंगहीन दिखाई देती है। इस पत्ती पर आयोडीन की बूंदें डालने पर इसका रंग नीला-काला हो जाता है। इससे स्पष्ट होता है कि पत्ती में मण्ड उपस्थित है।

प्रश्न 5. किसी बगीचे या खेत में जाकर विभिन्न प्रकार के पौधों (खरपतवारों) को उखाड़कर देखिए तथा उनके नामांकित चित्र बनाइए। चित्र में जड़ों के प्रकार भी बताइए। (क्रियाकलाप)
उत्तर:


              

प्रश्न 6. किसी पुष्प का नामांकित चित्र बनाकर उसके भागों के नाम अंकित कीजिए। स्त्रीकेसर तथा पुंकेसर के चित्र बनाकर उनका कार्य लिखिए।
उत्तर: पुष्प के विभिन्न भागों को दर्शाता हुआ चित्र-
                      

स्त्रीकेसर: यह पुष्प का मादा भाग है। इसका फूला हुआ नीचे का भाग अण्डाशय कहलाता है। इसके ऊपर का सँकरा भाग वर्तिका तथा वर्तिका के ऊपर धुंडी जैसा भाग वर्तिकान कहलाता है।
कार्य: अण्डाशय के अन्दर बीज का निर्माण होता है तथा यह फूलकर फल बनाता है।

पुंकेसर: यह पुष्प का नर अंग है। इसका लम्बा पतला भाग तंतु तथा ऊपर का फूला भाग परागकोष कहलाता है।
कार्य: परागकोष के अन्दर परागकण बनते हैं।
 
प्रश्न 7. पुष्प के अण्डाशय की आन्तरिक संरचना का अध्ययन कैसे किया जाता है? अण्डाशय की आन्तरिक संरचना का चित्र बनाइए।
उत्तर: अण्डाशय स्त्रीकेसर का सबसे निचला फूला हुआ भाग है। इसकी आन्तरिक संरचना के अध्ययन के लिए इसे काटना पड़ता है। अण्डाशय को दो प्रकार से काटा जा सकता है जैसा कि नीचे दिये गये चित्रों में दर्शाया गया है।
 

अलग-अलग पुष्पों से दो अण्डाशय लेते हैं। दोनों अण्डाशयों को प्लेट पर रखकर चित्र के अनुसार काट सकते हैं। अण्डाशय की काट को सूखने से बचाने के लिए प्रत्येक काट पर जल की एक बूंद रखिए।
आवर्धक लैंस की सहायता से अण्डाशय की आन्तरिक रचना का अध्ययन कीजिए। आपको अण्डाशय के अन्दर छोटी-छोटी गोल रचनाएँ दिखाई देती हैं, जिन्हें बीजाण्ड कहते हैं।

प्रश्न 8. विभिन्न पौधों के पुष्पों का अवलोकन करके निम्न प्रश्नों के उत्तर सारणीबद्ध कीजिए
उत्तर: बाह्य दल एवं पंखुड़ियों का भली-भाँति अवलोकन कीजिए तथा निम्न प्रश्नों के उत्तर दीजिए
1. इसमें कितने बाह्य दल है?
2. क्या ये आपस में जुड़े हैं?
3. बाह्य दल एवं पंखुड़ियाँ किन रंगों की हैं?
4. आपके फूल में पंखुड़ियों की संख्या कितनी है?
5. क्या वे एक-दूसरे से जुड़ी हैं अथवा स्वतन्त्र हैं?
6. क्या जुड़े हुए बाह्य दल वाले पुष्प की पंखुड़ियाँ अलग-अलग है या संयुक्त ? अपनी कक्षा के सभी विद्यार्थियों द्वारा विभिन्न पुष्पों के अध्ययन सम्बन्धी प्रेक्षण सारणी में लिखिए।

प्रश्न 9. निम्न ग्रिड में पौधे के विभिन्न भागों के नाम छिपे हुए हैं। ऊपर, नीचे, दाएँ, बाएँ और तिर्यक दिशा में जाकर उन नामों को ढ़ँढिए। नाम का घेरा लगाइए। 
उत्तर:
         

(i) Ovule        (ii) Filament           (iii) Flower        (iv) Stem          (v) Stamen
(vi) Sepal       (vii) Midrib            (viii) Fruit          (ix) Vein           (x) Herb
(xi) Ovary       (xii) Petal

 (i) बीजांड         (ii) फिलामेंट         (iii) फूल           (iv) तना             (v) पुंकेसर

(vi) बाह्यदल    (vii) मध्यशिरा      (viii) फल         (ix) शिरा            (x) जड़ी बूटी

(xi) अंडाशय     (xii) पंखुड़ी

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